ऊर्जा के क्षेत्र में कार्य करने के लिए अपार संभावनाएं
देहरादून। डेस्टिनेशन उत्तराखंड ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट के तहत मंगलवार को सचिवालय में आयोजित उत्तराखंड एनर्जी कॉनक्लेव में मुख्यमंत्री की उपस्थित में 40 हजार 4 सौ 23 करोड़ के एमओयू हस्ताक्षरित किये गये। इस मौके पर मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा कि उत्तराखंड में ऊर्जा के क्षेत्र में कार्य करने के लिए अपार संभावनाएं हैं। उत्तराखंड राज्य की अवधारणा में ऊर्जा सेक्टर का महत्वपूर्ण योगदान था। उन्होंने कहा कि राज्य में निवेश बढ़ाने के लिए राज्य सरकार द्वारा लगातार प्रयास किये जा रहे हैं। औद्योगिक जगत से जुड़े लोगों के सुझावों के आधार पर 27 नई नीतियां बनाई गई हैं और अनेक नीतियों को सरल बनाया गया है। मुख्यमंत्री ने कहा कि 8 और 9 दिसम्बर को एफआरआई में डेस्टिनेशन उत्तराखंड, ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट का आयोजन किया जा रहा है। इसका उद्घाटन प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी करेंगे। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री का राज्य को लगातार मार्गदर्शन मिल रहा है। उनके वाइब्रेंट गुजरात की प्रेरणा से ही प्रदेश में डेस्टिनेशन उत्तराखंड पर कार्य किया जा रहा है।मुख्यमंत्री ने अधिकारियों को निर्देश दिये कि आज कॉनक्लेव में प्राप्त सभी सुझावों पर गंभीरता से अमल किया जाए। सभी जिलाधिकारियों और एसएसपी को भी निर्देश दिये गये हैं कि औद्योगिक क्षेत्र से जुड़े लोगों के साथ समय-समय पर बैठक की जाए और उनकी समस्याओं का उचित समाधान भी निकाला जाए।उन्होंने कहा कि राज्य में उद्योग स्थापित करने वाले लोगों के साथ राज्य सरकार सहयोगी के रूप में कार्य करेगी। उन्होंने कॉनक्लेव में आये सभी लोगों को इन्वेस्टर्स समिट के लिए भी आमंत्रित किया। उन्होंने कहा कि देवभूमि उत्तराखंड में कार्य करने की अनेक संभावनाएं हैं, सबको संभावनाओं का सदुपयोग करना है। अपर मुख्य सचिव राधा रतूड़ी ने कहा कि राज्य में ऊर्जा के क्षेत्र में कार्य करने की काफी संभावनाएं हैं, इसके लिए तीनों निगमों को एकजुटता से कार्य करने हैं। उन्होंने कहा कि राज्य में निवेश बढ़ने से स्थानीय लोगों के रोजगार के अवसर बढ़ेंगे। उन्होंने कहा कि ऊर्जा के क्षेत्र में राज्य में निवेश करने वालों के लिए हर संभव मदद मिल सके, इसके लिए नियमित समीक्षा बैठकें की जायेंगी।